Wednesday 28 February 2018

Upsc के लिये दिल्ली की नही दिल और दिमाग की जरूरत है

  अधिकतर बच्चे 12 वी की परीक्षा के बाद दिल्ली विश्विद्यालय  , मुखर्जी नगर , करोल बाग , राजेन्द्र नगर , लक्ष्मी नगर  और अन्य इलाकों के रंगीन सपने देख रहे होंगे ... बिहार और उत्तर प्रदेश के अधिकतर बच्चे प्रकृतिवश और प्रचार प्रसार के कारण सरकारी  अधिकारी बनने के ख्वाब मन मे पाले होंगे ... परन्तु क्या दिल्ली जरूरी है या फिर दिल्ली और upsc की अवधारणा ही गलत है ।। 

ये सत्य है कि सबसे अधिक प्रशासनिक सेवा में बच्चे दिल्ली विश्विद्यालय के ही जाते है परन्तु ये भी सत्य है कि सबसे अधिक इसी विश्विद्यालय के बच्चे इस प्रतियोगिता में भाग लेते है और यकीन मानिये जो परीक्षा को क्लियर करते है वो department टॉपर भी नही होते है और न ही कोचिंग संस्थानों के धोखे में आते है और उससे भी विलक्षण बात यह है upsc की तैयारी करने वाले समूचे दुनिया का ज्ञान नही रखते है और न ही सब कुछ पढ़ते है ।।

दिल्ली आने के बाद जितना सङ्घर्ष है .. पढ़ाई करना उतना ही मुश्किल है ...और रंगीनियों में भटक गये तो फिर पूछो ही मत ..उसके अलावा मोरल प्रेशर , भावनात्मक कमजोरी ये सब अलग .. और मध्यम परिवार के बच्चे तो न सही से जी पाते है और न मर पाते है ..

Upsc करने के लिये... न कोचिंग की आवश्यकता है न बढ़िया कॉलेज की और न ही पुस्तकालय की ... जरूरत है तो बस सही तरीके से पढाई की और स्वस्थ तरीको की ...  आप अपने घर पर रहकर भी तैयारी कर सकते है वहां आपको न भोजन की चिंता , न आवास और न किसी झंझट की चिंता होगी ... एक रूम में अपना गुफा बनाओ ...और लग जाओ तपस्या में 

Unacadmy , mrunal के lectures काफी अच्छे होते है ...distractions से बचो और acadmices उतना जरूरी नही इसमे .... पुस्तको में 6 से 10 की विज्ञान और 6 से 12 सामाजिक विज्ञान पढ़ लो basic क्लियर ... तब कुछ महत्वपूर्ण पुस्तके बचती है ... बाकी ज्यादातर current affairs से आता है indian express और the hindu पढ़ो ... पूरी बूकलिस्ट भी मैं बता सकता है ...optional पेपर में graduation स्तर की जानकारी चाहिये तो विषय अनुसार पढ़ाई की जरूरत होती है ।।

बाकी अगर पैसे उड़ाने और अय्यासी करनी है तो दिल्ली से बेहतर कोई जगह नही

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